आरटीआई से खुलासा: प्रदेश को आवारा पशुओं से मुक्त कराने का अभियान हुआ, विफल
नगरपालिका समालखा के सचिव व नगरनिगम पानीपत के सहायक जन सूचना अधिकारी एवं दमकल केन्द्र अधिकारी ने बताया कि उनके पास आवार पशुओं की संख्या व पकडृने बारे कोई सूचना उपलब्ध नहीं है। जबकि पशुपालन एवं डेयरी विभाग पानीपत ने सूचित किया कि पानीपत जिले में 5611 बेसहारा पशुओं को पकड़ा जा चुका है। पानीपत में शहर की हर गली ,गांव के हर चौंक चौराहों पर गोवंश घूमते नजर आते हे , ऐसे में आखिर कब होगा प्रदेश आवारा पशुओ से मुक्त।
देश व् प्रदेश में आर टी आई के दमपर बड़े -बड़े भ्र्ष्टाचार के खुलासे करने वाले पी पी कपूर ने एक बार फिर किया बड़ा खुलासा , आर टी आई से किया खुलासा सरकार की प्रदेश को आवारा पशुओं से मुक्त कराने का अभियान विफल बताया ,कहा सरकार ने दो डीएसपी, अठारह इंस्पेक्टरों सहित कुल 332 पुलिस कर्मी गौ सुरक्षा दस्ते में कार्यरत्त ,फिर भी गौमाता रोड पर ,कहा बीजेपी सरकार के राज में गौ सेवा आयोग का बजट पांच वर्षों में 45 लाख से बढक़र हुआ 30 करोड़ होने के बाद भी गौमाता भटकने को मजबूर ,आरटीआई से खुलासा हुआ है कि पिछले पांच वर्षों में हरियाणा गौ सेवा आयोग का बजट 45 लाख से बढक़र 30 करोड़ हुआ फिर भी सरकार प्रदेश को आवारा पशुओं के खतरे से मुक्त नहीं करा सकी। जबकि हरियाणा सरकार ने पहले गत वर्ष 15 अगस्त 2018 तक व फिर 1 जनवरी 2019 तक पूरे प्रदेश को आवारा पशुओं से मुक्त करने का लक्ष्य बनाया था। जो दोनों बार विफल रहा। अभी तक सिर्फ नूंह जिला ही आवारा पशु मुक्त हो पाया है। हरियाणा पुलिस के दो डीएसपी 18 पुलिस निरीक्षकों सहित कुल 332 पुलिसकर्मी गौ सुरक्षा दस्ते में कार्यरत्त हैं। प्रदेश की कुल 513 गौशालाओं में कुल 3,61,068 गाय, बैल है। हिसार में सर्वाधिक 15,496 आवार पशु पकड़े जा चुके हैं। आरटीआई एक्टिविस्ट पीपी कपूर ने बताया कि हरियाणा सरकार का अगर यही उदासीन रवैया रहा तो प्रदेश कभी भी आवारा पशुओं के प्रकोप से मुक्त नहीं हो पाएगा।प्रदेशवासी अवारा पशुओं का प्रकोप झेलने को अभिशप्त रहेंगे। हरियाणा सरकार द्वारा 30 जून 2018 को हर जिले में स्ट्रे केटल फ्री हरियाणा के लिए अतिरिक्त उपायुक्त की अध्यक्षता में कमेटियां गठित की गई थी। लेकिन परिणाम जीरो निकले ,वंही दूसरी ओर पंचकूला नगर निगम के राज्य जन सूचना अधिकारी ने आर टी आई में बताया कि पंचकूला आवारा पशुओं से मुक्त नहीं हो सका। क्योंकि कोई भी गौशाला इन पकड़े गए आवारा पशुओं को लेती नहीं है।