मौसम के करवट बदलने से फिर बढ़ी किसानों की चिंता

किसानों की कड़ी मेहनत से सींची गई फसल बारिश की भेंट चढ़ गई। किसान गुरदेव सिंह ने बताया कि मंडी में गेंहू बेचने के लिए आया था लेकिन मंडी में इंतजाम न होने व हो रहे धीमे उठान के कारण उनकी गेंहू भीग गई हैं, सरकार को चाहिए कि मंडी में सही इंतजाम हो व उठान में तेजी लाई जाए, किसानों का कहना है कि सरकार व मंडी प्रशासन की लापरवाही से मंडी में पड़े हजारों कट्टे गेंहू के भीग कर खराब हो गए हैं।

रादौर (कुलदीप सैनी) || रादौर में मौसम के अचानक करवट बदलने के बाद तेज हवाओ के साथ आई बारिश के कारण जहाँ लोगों को गर्मी से राहत मिली। वही बरसात के कारण मंडियों में बिक्री के लिए पंहुची फसल बारिश में भीग गई। उठान गति धीमी होने के कारण मंडी गेहूं की फसल से अटी पड़ी है। करीब आधा घंटा हुई बारिश ने ही मार्किट कमेटी के प्रबंधो की भी पोल खोल कर रख दी। मंडी में खुले आसमान के नीचे भीगी किसानों की मेहनत से किसान दुखी नजर आए। 
मौसम विभाग द्वारा दो दिन से पहले ही बरसात होने का अनुमान जताया गया था, बावजूद उसके मंडी प्रबंधन ने उठान की और कोई ध्यान नहीं दिया, जिसका नतीजा किसानों की कड़ी मेहनत से सींची गई फसल बारिश की भेंट चढ़ गई। किसान गुरदेव सिंह ने बताया कि मंडी में गेंहू बेचने के लिए आया था लेकिन मंडी में इंतजाम न होने व हो रहे धीमे उठान के कारण उनकी गेंहू भीग गई हैं, सरकार को चाहिए कि मंडी में सही इंतजाम हो व उठान में तेजी लाई जाए, किसानों का कहना है कि सरकार व मंडी प्रशासन की लापरवाही से मंडी में पड़े हजारों कट्टे गेंहू के भीग कर खराब हो गए हैं।

बारिश से न केवल मंडी में, बल्कि खेतो में कटी पड़ी गेहूं की फसल भीग गई। जिससे अब कई दिन तक कटाई का कार्य नहीं प्रभावित होगा। वही तेज हवा के साथ आई बारिश के कारण क्षेत्र के कई किसानों की खेतों में कटाई के लिए खड़ी फसल भी नीचे गिर गई, जिससे उन्हें आर्थिक रूप से नुक्सान झेलना पड़ेगा।