बेटी सुषमा की कहानी अम्बाला की जुबानी

सुभाष शर्मा ने बताया कि सुषमा हर बार रक्षाबंधन और भैया दूज पर अपने पैतृक घर आती थी तो हर किसी से बड़े प्यार से मिलती थी । इस बार सुषमा स्वराज ने वादा भी किया था कि वह रक्षाबंधन पर अंबाला जरूर आएगी । सुषमा स्वराज की सादगी को बयान करते हुए सुभाष शर्मा ने बताया

बेटी सुषमा की कहानी अम्बाला की जुबानी
 अम्बाला (अंकुर कपूर ) || अंबाला की बेटी और देश की पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के आकस्मिक निधन की खबर ने उनसे जुड़े हर व्यक्ति को गमगीन कर दिया है ।  उनके पैतृक घर में उनके लिए खाना बनाने वाली मेड , उनका भतीजा , उनके वार्ड का पूर्व एमसी सब सदमे में हैं । सुषमा स्वराज से जुड़ी यादों को उन्होंने हमसे सांझा किया ।अंबाला में जन्मी सुषमा स्वराज अंबाला के बीसी बाजार की रहने वाली थी । अंबाला के इस बाजार में खेल कूद कर सुषमा स्वराज का बचपन बीता । यहां के रहने वाले बाशिंदों के जहन में आज भी सुषमा की यादें किसी फिल्म की तरह दौड़ रही हैं । वह यकीन भी नहीं कर पा रहे कि सुषमा अब उनके बीच मे नहीं रहीं । सुषमा स्वराज के भतीजे हर्ष ने बताया कि सुषमा उन्हें बहुत प्यार करती थी और वह उनके लिए कहीं नहीं गई है । सुषमा के लिए उनके पैतृक घर मे खाना बनाने वाली गुड़िया की माने तो वह बीते 5 साल से सुषमा स्वराज के घर पर काम कर रही हैं । जब उसे पता चला कि उसे सुषमा स्वराज के घर काम करना है तो यह उसके लिए बड़ी बात थी । हाल ही में जब सुषमा अंबाला आई थी तो उसने उनके लिए गाजर का हलवा बनाया था जिसे सुषमा ने बड़े चाव से चखा था । आज सुषमा उनके बीच नहीं है ये उनके लिए किसी सदमे से कम नहीं । सुषमा स्वराज के बोर्ड के पूर्व एमसी रहे सुभाष शर्मा ने बताया कि सुषमा हर बार रक्षाबंधन और भैया दूज पर अपने पैतृक घर आती थी तो हर किसी से बड़े प्यार से मिलती थी । इस बार सुषमा स्वराज ने वादा भी किया था कि वह रक्षाबंधन पर अंबाला जरूर आएगी । सुषमा स्वराज की सादगी को बयान करते हुए सुभाष शर्मा ने बताया कि जब वह हम से बने तो वह उनसे मिलने दिल्ली गए तो उनके पीए ने उन्हें बाहर ही रोक लिया लेकिन जब वह सुषमा से मिले तो सुषमा स्वराज ने इतनी बड़ी नेता होने के बावजूद बड़ी ही सादगी से अपने पिए को कहा यह मेरे वार्ड के एमसी हैं कि वहां के लोकल काम तो इन्हीं से करवाने हैं